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मधुमक्खी की चमत्कारिक उड़ान को देखना वास्तव में किसी चमत्कार से कम नहीं है क्यों कि मधुमक्खी की उड़ान इतनी तेज़ है, कि हम इसे आसानी से देख नहीं सकते। उड़ान भरते समय मधुमक्खी एक प्रकार की ध्वनि उत्पन्न करती है, जो कि भिनभिनाने जैसी प्रतीत होती है। किंतु, क्या आप जानते हैं कि मधुमक्खी की तेज़ उड़ान के पीछे का मुख्य कारण क्या है? शोधकर्ताओं के अनुसार मधुमक्खी की तेज़ उड़ान का मुख्य कारण उनके छोटे, कटे-फटे पंखों का आघात, पंखों के तेज़ी से घूमने, उड़ते समय दिशा बदलने तथा पंखों के फड़फड़ाने की आवृत्ति का संयोजन है। उनके पंख लगभग 90 डिग्री के छोटे चाप या वक्र पर फड़फड़ाते हैं, लेकिन लगभग 230 बीट्स प्रति सेकंड की गति से। तुलनात्मक रूप से अन्य मक्खियाँ, जैसे फल मक्खी, मधुमक्खियों से 80 गुना छोटी होती हैं, लेकिन वे अपने पंखों को प्रति सेकंड केवल 200 बार ही फड़फड़ाती हैं। जब मधुमक्खियाँ अधिक शक्ति उत्पन्न करना चाहती हैं (उदाहरण के लिए, परागकोष से पराग ले जाते समय) तो वे अपने पंखों के बीच बने वक्र को बढ़ा देती हैं, लेकिन पंखों के फड़फड़ाने की दर समान ही रहता है। मधुमक्खियों के उड़ने की रणनीति उनके पंखों की मांसपेशियों के डिज़ाइन से भी जुड़ी हुई है। तो आइए आज धीमी गति में मधुमक्खी की चमत्कारिक उड़ान का आनंद लें।
संदर्भ:
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