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हमारे लखनऊ शहर को अपनी शाही मेहमान नवाजी के लिए जाना जाता है! लखनऊ के हमारे सभी क्रिकेट प्रेमियों को यह पता होगा कि "आईसीसी क्रिकेट विश्व कप (ICC Cricket World Cup) " मैच श्रृंखला का आयोजन, हमारे प्यारे भारत में हो रहा है! लेकिन क्या आप जानते हैं कि इसका सीधा फायदा हमारे खिलाड़ियों के साथ-साथ उन शहरों को भी पहुंच रहा है, जिन शहरों में इस क्रिकेट श्रंखला का आयोजन किया जा रहा है! दरअसल क्रिकेट जैसी लोकप्रिय खेल श्रंखला को देखने के लिए और अपने देश के खिलाड़ियों का हौसला बढ़ाने के लिए, दुनियांभर से विदेशी पर्यटक भारत में आ रहे हैं, और मेजबान शहरों की सेवाओं तथा वस्तुओं का उपभोग करके वहां की अर्थव्यवस्था में बड़ा योगदान दे रहे हैं! हालांकि हमें यह भी पता होना चाहिए कि किसी भी देश में भारी संख्या में पर्यटकों के आने से जहां एक ओर इन शहरों की अर्थव्यवस्था मजबूत होती है वहीं दूसरी ओर इसके दीर्घकालिक नुकसान भी होते हैं।
किसी भी स्थल या आयोजन को देखने के लिए दूसरे राज्यों अथवा देशों से आनेवाले पर्यटकों का उस देश के पर्यटन स्थलों पर गहरा आर्थिक, राजनीतिक, सामाजिक-सांस्कृतिक, पर्यावरणीय और मनोवैज्ञानिक स्तर पर जटिल और बहुआयामी प्रभाव पड़ता है। यह प्रभाव सकारात्मक भी हो सकता है, और नकारात्मक भी हो सकता है। आंकड़े दर्शाते हैं कि साल 2019 में, लगभग 1.4 बिलियन लोगों ने दूसरे देशों की यात्रा की, जिस दौरान यात्रा पर कुल मिलाकर उन्होंने 1.45 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर खर्च किये। यूरोप को दुनिया का सबसे लोकप्रिय पर्यटन गंतव्य माना जाता है, जहां दुनियां में सबसे अधिक पर्यटक घूमने के लिए जाते हैं। यूनाइटेड किंगडम (United Kingdom) में, पर्यटन सबसे बड़े और सबसे तेजी से बढ़ते उद्योगों में से एक माना जाता है, जो हर साल वहां के घरेलू राजस्व में £60 बिलियन से अधिक का योगदान देता है। पर्यटन के कारण यूके में 1.4 मिलियन नौकरियां निर्मित होती हैं।
इस प्रकार पर्यटन का किसी भी देश की अर्थव्यवस्था पर प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष दोनों तरह से प्रभाव पड़ता है। प्रत्यक्ष प्रभाव तब पड़ता है, जब पर्यटक आवास, भोजन और पेय पदार्थ, मनोरंजन और खुदरा जैसी चीजों को खरीदने के लिए पैसा खर्च करते हैं। वहीँ अप्रत्यक्ष प्रभाव आपूर्ति श्रृंखला और निवेश व्यय के माध्यम से पड़ता हैं। उदाहरण के लिए, किसी होटल को चरम पर्यटन सीजन (Peak Tourist Season) के दौरान अधिक भोजन और आपूर्ति खरीदने की आवश्यकता पड़ सकती है, साथ ही स्थानीय सरकार भी यहां पर पर्यटन को सुलभ बनाने के लिए नए बुनियादी ढांचे में निवेश कर सकती है। पर्यटन में वृद्धि से सड़क, रेल, हवाई अड्डे और उपयोगिताओं जैसे बुनियादी ढांचे में भी सुधार होता है। इससे पर्यटकों और स्थानीय लोगों दोनों को लाभ होता है। पर्यटन पूर्व औद्योगिक स्थलों और परित्यक्त भूमि, साथ ही अप्रयुक्त नहरों को संरक्षित करने में मदद कर सकता है। इसके अलावा पर्यटन के कारण ऐतिहासिक इमारतों के नवीनीकरण के लिए धन भी एकत्र किया जा सकता है। पर्यटन, रोजगार के क्षेत्र में भी कई संभावनाएं निर्मित कर देता है। इसमें नौकरियों की उपलब्धता और विशिष्टता दोनों शामिल हैं।
क्या आप जानते हैं कि यात्रा और पर्यटन अकेले ही प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से दुनियां की कुल नौकरियों का 10.7% निर्मित करते हैं। प्रत्यक्ष पर्यटन नौकरियां पर्यटकों के अनुभव को बेहतर बनाती हैं।
इसके कुछ उदाहरणों में शामिल है:
➲ आवास (निर्माण, सफाई, प्रबंधन)
➲ भोजन और पेय सेवाएँ
➲ मनोरंजन
➲ उत्पादन
➲ खरीदारी
अप्रत्यक्ष पर्यटन नौकरियों के तहत आगंतुकों के लिए बेहतर ढांचे के निर्माण के दौरान मिलने वाले रोजगार या आर्थिक लाभ को गिना जाता है! यानी इनमें पर्यटन को समर्थन देने के लिए परिवहन वाहनों (जैसे, बस, विमान, नाव) के निर्माण और बुनियादी ढांचे (जैसे, हवाई अड्डे, बंदरगाह) के निर्माण में मिलने वाली नौकरियां शामिल हैं।
अर्थव्यवस्था और रोजगार को बढ़ावा देने के अलावा, पर्यटन कई अन्य क्षेत्रों में भी अपना गहरा प्रभाव डालता है! जिनमें शामिल है:
१. संस्कृति का वस्तुकरण या व्यवसायीकरण: संस्कृति का वस्तुकरण, सांस्कृतिक परंपराओं और कलाकृतियों को वस्तुओं में बदलने की प्रक्रिया को संदर्भित करता है, जिसे पर्यटकों को बेचा जा सकता है। इसके सकारात्मक और नकारात्मक दोनों प्रभाव हो सकते हैं। एक ओर, यह स्थानीय संस्कृति और परंपराओं के लिए बाज़ार प्रदान करके उन्हें संरक्षित करने में मदद कर सकता है। वहीँ दूसरी और इससे संस्कृति का शोषण और उसकी प्रामाणिकता का नुकसान भी हो सकता है।
२. प्रदर्शन प्रभाव: प्रदर्शन प्रभाव, स्थानीय लोगों की पर्यटकों के व्यवहार की नकल करने की प्रवृत्ति को संदर्भित करता है। प्रदर्शन प्रभाव स्थानीय संस्कृति के लिए नकारात्मक साबित हो सकता है, क्यों कि इससे स्थानीय पारंपरिक मूल्यों का क्षरण और अपराध और वेश्यावृत्ति जैसी सामाजिक समस्याओं में वृद्धि हो सकती है।
३. संस्कृतिकरण: पर्यटन के माध्यम से जब दो संस्कृतियाँ एक-दूसरे के संपर्क में आती हैं, तब सांस्कृतिक परिवर्तन देखा जाता है। पर्यटन के संदर्भ में, यह परिवर्तन की प्रक्रिया को संदर्भित करता है जो तब होती है जब एक मेजबान या गंतव्य समुदाय (Destination Community) अपने यहां आने वाले पर्यटकों की संस्कृति को अपनाने लगता है। इस संस्कृति-संक्रमण के सकारात्मक और नकारात्मक दोनों प्रभाव हो सकते हैं। एक ओर यह विभिन्न संस्कृतियों के बीच समझ और प्रशंसा को बढ़ावा देने में मदद कर सकता है। हालाँकि, इससे पारंपरिक संस्कृति और अपनी पीढ़ियों पुरानी पहचान भी खो सकती है।
४. सामाजिक सहभाग: सामाजिक सहभाग या सामुदायिक भागीदारी पर्यटन की योजना और कार्यान्वयन में स्थानीय लोगों की भागीदारी को संदर्भित करता। इससे यह सुनिश्चित करने में मदद मिल सकती है कि पर्यटन को इस तरह से विकसित किया जाए जो टिकाऊ और स्थानीय समुदाय के लिए फायदेमंद हो।
इन सभी लाभों के अलावा पर्यटन उद्योग किसी भी देश को लंबे समय में गंभीर नुकसान पहुंचा सकता है! जैसे
१. पर्यटन के कारण वस्तुओं और सेवाओं की कीमतें बढ़ सकती हैं, जिससे स्थानीय लोगों के लिए उन्हें वहन करना अधिक कठिन हो जाएगा।
२. लोकप्रिय पर्यटन क्षेत्रों में दुकानें स्थानीय लोगों की तुलना में पर्यटकों को अधिक सुविधाएं दे सकती हैं, उदाहरण के तौर पर इन क्षेत्रों में मूलभूत और आवश्यक वस्तुओं तथा सेवाओं की तुलना में, उपहार की दुकानें और रेस्तरां में भीड़ अधिक हो सकती है।
३. स्थानीय लोगों को जल उपचार सुविधाओं और पर्यटक सूचना केंद्रों जैसी पर्यटन सेवाओं के वित्तपोषण के लिए अतिरिक्त करों का भुगतान करना पड़ सकता है।
४. पर्यटन से पारंपरिक रोजगार में गिरावट आ सकती है, क्योंकि यहां पर श्रमिक खेती, खनन और मछली पकड़ने जैसे उद्योगों को छोड़कर, पर्यटन उद्योग की सेवा नौकरियों में चले जाते हैं।
५. पर्यटन पर अत्यधिक निर्भरता किसी क्षेत्र को आर्थिक नुकसान के प्रति संवेदनशील बना सकती है! उदाहरण के तौर पर यदि पर्यटकों ने उस क्षेत्र में अचानक आना बंद कर दिया तो वहां की अर्थव्यवस्था पूरी तरह से चरमरा सकती है।
६. अधिक संख्या में आने वाले पर्यटक हमारे पर्यावरण और प्राकृतिक संसाधनों पर दबाव औरहानिकारक प्रभाव डाल सकते हैं।
७. इनके वाहनों से होने वाला वायु प्रदूषण शहर की आबोहवा को नुकसान पहुंचा सकता है और ध्वनि प्रदूषण का कारण बन सकता है।
८. आने वाले पर्यटक कूड़ा फैला सकते हैं, जो परिदृश्य को प्रदूषित करता है और लोगों और जानवरों को नुकसान पहुंचाता है।
९. समुद्र में अनुपचारित सीवेज के शामिल होने से जल प्रदूषण हो सकता है।
१०. पर्यटन के कारण स्थानीय लोगों की शांति प्रभावित हो सकती है।
११. पर्यटकों की सुविधा के लिए सड़कों के कटाव और आवासों के नुकसान के माध्यम से पर्यटन प्राकृतिक परिदृश्य को भी नष्ट कर सकता है।
कुल मिलाकर पर्यटन स्थानीय स्तर पर व्यक्तिगत आय में वृद्धि, बेहतर जीवन स्तर और अतिरिक्त रोजगार के अवसरों का सृजन सहित कई सांस्कृतिक और मनोवैज्ञानिक सुधार करके अहम् भूमिका निभा सकता है! तो वहीं दूसरी ओर अपने नकारात्मक पक्ष पर, पर्यटन स्थानीय संस्कृति के व्यावसायीकरण, स्थानीय लोगों के विस्थापन और स्थानीय जीवन शैली और मूल्यों में बदलाव का कारण बन सकता है। साथ ही ओवर टूरिज्म (Overtourism) के कारण आवास की लागत में वृद्धि, आर्थिक अवसरों को सीमित करने और सार्वजनिक स्थानों के दुरुपयोग का कारण बनकर स्थानीय निवासियों के जीवन की गुणवत्ता भी कम हो सकती है।
संदर्भ
https://tinyurl.com/yh9ev298
https://tinyurl.com/2s4r4urt
https://tinyurl.com/3f29sc4s
चित्र संदर्भ
1. लखनऊ के रूमी दरवाजे की तरफ बढ़ते तांगे को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
2. हाथी की सवारी करते विदेशी पर्यटकों को दर्शाता एक चित्रण (wikimedia)
3. मसूरी के केम्प्टी फ़ॉल में नहा रहे लोगों के जमावड़े को दर्शाता एक चित्रण (wikimedia)
4 . पर्यटकों के वाहनों और कूड़े को दर्शाता एक चित्रण (wikimedia)
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