Post Viewership from Post Date to 06-Jun-2024 (31st Day)
City Subscribers (FB+App) Website (Direct+Google) Email Instagram Total
2052 108 2160

***Scroll down to the bottom of the page for above post viewership metric definitions

शहद से लेकर खाद्य पदार्थों तक, इंसानों के जीवन में, महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं जंगली फूल

लखनऊ

 06-05-2024 09:35 AM
साग-सब्जियाँ

हम सभी जानते हैं कि जंगली फूल कितने सुंदर होते हैं। लेकिन जंगली फूल केवल सुंदरता और मनमोहक सुगंध ही प्रदान नहीं करते हैं, बल्कि उनका प्राथमिक उद्देश्य प्रजनन है। पिछले 20 वर्षों में इस उद्देश्य के लिए उनकी लोकप्रियता अत्यंत बढ़ गई है। हमारे पसंदीदा फल और सब्जियाँ जैसे सेब, स्ट्रॉबेरी, रसभरी आदि अच्छी फसल के लिए परागण पर निर्भर करते हैं। तो आइए आज देखते हैं और जानते हैं कि जंगली फूल लगाने से फर्क क्यों पड़ता है? इसके साथ ही कुछ खाने योग्य फूलों और उनके फ़ायदों के विषय में जानते हैं। और यह भी देखते हैं कि जंगली फूलों के शहद या नियमित शहद में से कौन सा बेहतर है? कोरोना महामारी के दौरान कम यात्रा और सामाजिक गतिविधियों पर प्रतिबंध होने के कारण, हम सभी प्रकृति के अधिक निकट आ गए हैं। घर से बाहर निकलने पर, हम रंग-बिरंगे फूलों और हरे-भरे पेड़ों की सुंदरता से ताज़गी और खुशी महसूस करते हैं। हमें याद आता है कि प्रत्येक जीवित वस्तु एक-दूसरे पर निर्भर होती है। जंगली फूल एवं पेड़ पौधे प्रकृति और हमारे लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। ये पौधे कितने महत्वपूर्ण हो सकते हैं, इसको समझने के लिए, उत्तरी ग्रेट प्लेन्स (Northern Great Plains) के उदाहरण पर विचार करें, जो लगभग 180 मिलियन एकड़ में पांच अमेरिकी राज्यों (U.S. states) और दो कनाडाई प्रांतों (Canadian provinces) के क्षेत्र में फैला है। इस विशाल मैदानी क्षेत्र में पौधों की लगभग 1,600 प्रजातियां पाई जाती हैं, जो पक्षियों, स्तनधारियों और कीड़ों के लिए आवास प्रदान करती हैं। खिले हुए रंग-बिरंगे जंगली फूल मधुमक्खियों और तितलियों जैसे परागणकों को आकर्षित करते हैं, जो फसलों की उपज में बेहद मददगार होते हैं। हालांकि हम इन फूलों को केवल खिलने के समय ही देखते हैं, लेकिन अप्रत्यक्ष रूप से ये फूल साल भर अपनी मनमोहक सुगंध और जीवंत रंगों से कहीं अधिक सहायक होते हैं। जब ये फूल मौजूद नहीं होते हैं तब भी जंगली फूलों के कई लाभ होते हैं। इन फूलों की जड़ प्रणालियां, अन्य घास के मैदानी पौधों के साथ, मिट्टी में गहराई तक फैली हुई होती हैं, पानी और पोषक तत्वों को संग्रहित करती हैं, और कार्बन को अवशोषित करती हैं जो अन्यथा हवा में छोड़ दिया जाता है। ऐतिहासिक रूप से, मनुष्यों द्वारा भी भोजन, घावों के इलाज और अन्य बीमारियों के उपचार के लिए विभिन्न प्रकार के जंगली फूलों का उपयोग किया जाता रहा है। हालांकि सभी जंगली फूल खाने के लिए सुरक्षित नहीं होते हैं, लेकिन कुछ जंगली फूल ऐसे हैं जो आपके भोजन में एक अद्भुत स्वाद और रंगत लाते हैं। साथ ही इनमें से कुछ फूल स्वास्थ्य लाभ भी प्रदान करते हैं। आइए यहां ऐसे ही कुछ स्वास्थ्य लाभ प्रदान करने वाले जंगली खाद्य फूलों के विषय में जानते हैं: 1. गुड़हल (Hibiscus ): गर्म जलवायु में उगने वाले गुड़हल की सैकड़ों प्रजातियाँ मौजूद हैं, लेकिन इसकी सबसे लोकप्रिय खाद्य किस्म को रोसेले (Roselle) या हिबिस्कस सबदरिफा (Hibiscus Sabdariffa) के नाम से जाना जाता है। गुड़हल के फूल 6 इंच तक बड़े कई रंगों के - लाल, सफेद, पीला और गुलाबी - होते हैं। यद्यपि गुड़हल का फूल अपनी सुंदरता से सब का मन मोह लेता है तथापि यह अपने पाक और औषधीय अनुप्रयोगों के लिए भी जाना जाता है। इसके फूलों को कच्चा खाया जा सकता है लेकिन अक्सर इनका उपयोग हर्बल चाय बनाने के लिए किया जाता है। कुछ शोध बताते हैं कि गुड़हल कोलेस्ट्रॉल और रक्तचाप पर सकारात्मक प्रभाव डाल सकता है। 2. डेंडिलियन (Dandelions): डेंडिलियन को उद्यान खरपतवार माना जाता है, साथ ही इन्हें अत्यधिक पौष्टिक खाद्य फूल के रूप में भी जाना जाता है। डेंडिलियन के फूल पीली पंखुड़ियों के साथ लगभग 1-1.5 इंच छोटे होते हैं। इन फूलों को अपने शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट गुणों के लिए जाना जाता है। दिलचस्प बात यह है कि डेंडिलियन के केवल फूल ही नहीं बल्कि इसकी जड़ें, तना और पत्तियां भी खाने योग्य होती हैं। इसके फूलों को कच्चा खाया जा सकता है, या जेली और वाइन बनाने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। इसकी जड़ों को अक्सर चाय बनाने के लिए उपयोग किया जाता है, जबकि साग को सलाद के रूप में कच्चा खाया जा सकता है। 3. लैवेंडर (Lavender): लैवेंडर एक बैंगनी रंग का फूल है जो अपनी विशिष्ट सुगंध के लिए जाना जाता है। लैवेंडर फूल में रंग और सुगंध का इतना विशिष्ट संयोजन है कि इसे कई तरह के खाद्य पदार्थों में उपयोग किया जाता है, जिसमें पके हुए भोज्य पदार्थ, सिरप, हर्बल चाय, सूखे मसाले और जड़ी बूटी मिश्रण शामिल हैं। इसका स्वाद खट्टे फल, जामुन, मेंहदी, थाइम और चॉकलेट जैसे मीठे और नमकीन दोनों सामग्रियों के साथ अच्छी तरह से मेल खाता है। 4. हनीसकल (Honeysuckle): हनीसकल एक सुगंधित फूल है जो अपनी विशिष्ट सुगंध, मीठे स्वाद और पारंपरिक औषधीय उपयोगों के लिए जाना जाता है। हनीसकल सदियों से पारंपरिक चीनी चिकित्सा पद्धतियों के लिए महत्वपूर्ण रहा है। विभिन्न सूजन संबंधी स्थितियों के इलाज के लिए इसके फूलों का अर्क निगला जाता है। इसे सीधे पौधे से खाया जा सकता है या इसका शरबत बनाया जा सकता है। पाक कला की दुनिया में, हनीसकल का उपयोग अक्सर चाय या सुगंधित, स्वादिष्ट सिरप बनाने के लिए किया जाता है। 5. नास्टर्टियम (Nasturtium): नास्टर्टियम एक चमकीले रंग का फूल है जो अपने स्वादिष्ट, चटपटे स्वाद के लिए जाना जाता है। नास्टर्टियम की पत्तियाँ और फूल दोनों ही खाने योग्य होते हैं और इन्हें पकाकर या कच्चा खाया जा सकता है। इनमें चटपटा, थोड़ा मसालेदार स्वाद होता है, हालांकि फूलों का स्वाद पत्तियों की तुलना में हल्का होता है। इसके फूल आमतौर पर चमकीले नारंगी, लाल या पीले रंग के होते हैं। इनका उपयोग केक, पेस्ट्री और सलाद की सजावट के लिए किया जाता है। नास्टर्टियम का फूल पौष्टिक भी होता है जिसमें एंटीऑक्सिडेंट और सूजन-रोधी प्रभावों के साथ विभिन्न प्रकार के खनिज और स्वास्थ्य-प्रचारक यौगिक होते हैं। 6. बोरेज (Borage): बोरेज एक जड़ी बूटी है जिस पर नाजुक, तारे के आकार के फूल उगते हैं। इसके फूल आमतौर पर नीले होते हैं लेकिन सफेद या गुलाबी भी हो सकते हैं। हर्बल चिकित्सा में, बोरेज का उपयोग छोटी-मोटी बीमारियों, जैसे गले में खराश या खांसी के इलाज के लिए किया जाता है। इसके फूल और पत्तियां दोनों खाने योग्य होते हैं। इसके फूलों का स्वाद थोड़ा मीठा होता है। फूलों को सलाद में या डेसर्ट और कॉकटेल के लिए गार्निश के रूप में ताज़ा खाया जा सकता है या उन्हें पकाया जा सकता है और सूप, सॉस या भरवां पास्ता बनाने के लिए उपयोग किया जा सकता है। 7. गुलाब (Rose): गुलाब की 150 से अधिक प्रजातियों में से लगभग सभी खाने योग्य हैं। हालाँकि, सभी गुलाबों का स्वाद एक जैसा नहीं होता। सुगन्धित गुलाब चुनने का एक अच्छा नियम यह है कि यदि इसकी खुशबू सुखद है, तो संभवतः इसका स्वाद भी अच्छा होगा। गुलाब की पंखुड़ियों को कच्चा खाया जा सकता है, विभिन्न फलों या सलादों में मिलाया जा सकता है या सुखाकर ग्रेनोला या जड़ी-बूटियों में मिलाया जा सकता है। ताज़ी गुलाब की पंखुड़ियों का उपयोग पेय, जैम और जेली बनाने के लिए किया जाता है। कई अन्य खाद्य फूलों की तरह, गुलाब भी स्वास्थ्य लाभ प्रदान कर सकता है। कुछ शोध से पता चलता है कि गुलाब में कुछ ऐसे यौगिक होते हैं जो चिंता को कम करते हैं । 8. कैमोमाइल (Chamomile): कैमोमाइल एक पुष्प जड़ी बूटी है जिसका उपयोग सदियों से भोजन पकाने और पारंपरिक चिकित्सा में किया जाता है। औषधीय रूप से, कैमोमाइल का सेवन अक्सर चिंता को कम करने और नींद की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए किया जाता है। इसकी पत्तियों और फूलों को आमतौर पर पहले सुखाया जाता है लेकिन इन्हें ताज़ा भी इस्तेमाल किया जा सकता है। इनका स्वाद मिट्टी जैसा थोड़ा मीठा होता है और इनका उपयोग चाय या अन्य अर्क बनाने में किया जा सकता है। इन्हीं जंगली फूलों से जो शहद प्राप्त होता है उसे प्रकृति की मधुर कृति कहना कोई अतिशयोक्ति नहीं है। जंगली फूलों के शहद का उत्पादन मधुमक्खियों द्वारा विशेष रूप से जंगली क्षेत्रों में उगने वाले जंगली फूलों के रस से किया जाता है। जंगली फूलों से प्राप्त होने वाला शहद पूरी तरह प्राकृतिक होता है जिसमें प्राकृतिक एंजाइम और एंटीऑक्सीडेंट बरकरार रहते हैं। इसलिए, इसका स्वाद बेहतर होता है और यह नियमित शहद की तुलना में अधिक स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है। कुछ जंगली फूलों से प्राप्त शहद का स्वाद फल जैसा होता है और यह चुने गए फूलों पर निर्भर करता है, जबकि नियमित शहद का स्वाद एक जैसा होता है। जंगली फूलों से प्राप्त शहद की खासियत इसकी अनूठी सुगंध में निहित है। जबकि बाज़ार में मिलने वाला नियमित शहद संसाधित होता है। यह जंगली फूलों के साथ-साथ अन्य विभिन्न स्रोतों से एकत्रित किया जाता है। जंगली फूलों के शहद बनाम नियमित शहद के प्रसंस्करण के तरीके भी अलग-अलग हैं। जंगली फूलों के शहद को न्यूनतम रूप से संसाधित किया जाता है। असंसाधित और कच्चा शहद अद्वितीय स्वाद और अन्य स्वास्थ्य लाभ बरकरार रख सकता है। दूसरी ओर, नियमित शहद व्यापक प्रसंस्करण से गुज़रता है। इसमें फ़िल्टरिंग और पास्चुरीकरण के अलावा विभिन्न तापन विधियाँ शामिल हैं। इसलिए, इसका प्राकृतिक स्वाद बरकरार नहीं रह पाता। जंगली फूलों से प्राप्त शहद का रंग सुनहरा या हल्का भूरा होता है, जो पूरी तरह से मधुमक्खी द्वारा चुने गए जंगली फूलों पर निर्भर करता है। जबकि नियमित शहद का रंग गहरा भूरा होता है क्योंकि यह विभिन्न स्रोतों से एकत्र किया गया मिश्रित रूप होता है। अंतिम लेकिन महत्वपूर्ण बात यह है कि शहद के इन दोनों प्रकारों में पोषण मूल्य भी भिन्न होता है।

संदर्भ
https://shorturl.at/nuIJY
https://shorturl.at/hrQ05
https://shorturl.at/owLV8

चित्र संदर्भ
1. हिमालय के निकट उगे पुष्पों को संदर्भित करता एक चित्रण (Inside Himalayas)
2. फूल पर मंडराती तितली को संदर्भित करता एक चित्रण (PixaHive)
3. गुड़हल को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
4. डेंडिलियन को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
5. लैवेंडर को संदर्भित करता एक चित्रण (PickPik)
6. हनीसकल को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
7. नास्टर्टियम को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
8. बोरेज को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
9. गुलाब को संदर्भित करता एक चित्रण (WordPress)
10. कैमोमाइल को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)
11. फूल पर बैठी मधुमक्खी को संदर्भित करता एक चित्रण (wikimedia)



***Definitions of the post viewership metrics on top of the page:
A. City Subscribers (FB + App) -This is the Total city-based unique subscribers from the Prarang Hindi FB page and the Prarang App who reached this specific post. Do note that any Prarang subscribers who visited this post from outside (Pin-Code range) the city OR did not login to their Facebook account during this time, are NOT included in this total.
B. Website (Google + Direct) -This is the Total viewership of readers who reached this post directly through their browsers and via Google search.
C. Total Viewership —This is the Sum of all Subscribers(FB+App), Website(Google+Direct), Email and Instagram who reached this Prarang post/page.
D. The Reach (Viewership) on the post is updated either on the 6th day from the day of posting or on the completion ( Day 31 or 32) of One Month from the day of posting. The numbers displayed are indicative of the cumulative count of each metric at the end of 5 DAYS or a FULL MONTH, from the day of Posting to respective hyper-local Prarang subscribers, in the city.

RECENT POST

  • आइए, आनंद लें, साइंस फ़िक्शन एक्शन फ़िल्म, ‘कोमा’ का
    द्रिश्य 3 कला व सौन्दर्य

     24-11-2024 09:20 AM


  • विशिष्ट आर्थिक क्षेत्र व प्रादेशिक जल, देशों के विकास में होते हैं महत्वपूर्ण
    समुद्र

     23-11-2024 09:29 AM


  • क्या शादियों की रौनक बढ़ाने के लिए, हाथियों या घोड़ों का उपयोग सही है ?
    विचार I - धर्म (मिथक / अनुष्ठान)

     22-11-2024 09:25 AM


  • होबिनहियन संस्कृति: प्रागैतिहासिक शिकारी-संग्राहकों की अद्भुत जीवनी
    सभ्यताः 10000 ईसापूर्व से 2000 ईसापूर्व

     21-11-2024 09:30 AM


  • अद्वैत आश्रम: स्वामी विवेकानंद की शिक्षाओं का आध्यात्मिक एवं प्रसार केंद्र
    पर्वत, चोटी व पठार

     20-11-2024 09:32 AM


  • जानें, ताज महल की अद्भुत वास्तुकला में क्यों दिखती है स्वर्ग की छवि
    वास्तुकला 1 वाह्य भवन

     19-11-2024 09:25 AM


  • सांस्कृतिक विरासत और ऐतिहासिक महत्व के लिए प्रसिद्ध अमेठी ज़िले की करें यथार्थ सैर
    आधुनिक राज्य: 1947 से अब तक

     18-11-2024 09:34 AM


  • इस अंतर्राष्ट्रीय छात्र दिवस पर जानें, केम्ब्रिज और कोलंबिया विश्वविद्यालयों के बारे में
    वास्तुकला 1 वाह्य भवन

     17-11-2024 09:33 AM


  • क्या आप जानते हैं, मायोटोनिक बकरियाँ और अन्य जानवर, कैसे करते हैं तनाव का सामना ?
    व्यवहारिक

     16-11-2024 09:20 AM


  • आधुनिक समय में भी प्रासंगिक हैं, गुरु नानक द्वारा दी गईं शिक्षाएं
    विचार I - धर्म (मिथक / अनुष्ठान)

     15-11-2024 09:32 AM






  • © - 2017 All content on this website, such as text, graphics, logos, button icons, software, images and its selection, arrangement, presentation & overall design, is the property of Indoeuropeans India Pvt. Ltd. and protected by international copyright laws.

    login_user_id