नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी की खबरें आए दिन अखबारों में छाई रहती हैं। साथ ही नौकरी दिलाने की आस देकर मोटी रकम ऐंठने के मामले रोजाना देश में कहीं-न-कहीं दर्ज किए जाते हैं। कुछ चालबाज़ लोग अच्छी नौकरी का झांसा देकर कई बेरोजगारों को फंसा लेते हैं। ऐसे झांसे का शिकार होकर कई लोग अपने घर की जमा-पूंजी से हाथ तो धो ही बैठते हैं, साथ में जालसाज़ी का शिकार होने पर उन्हें काफी मानसिक आहत भी पहुंचती है। तो आइए जानते हैं कैसे पहचानें नौकरी से संबंधित धोखाधड़ी के इन विज्ञापनों को।
घोटाले से बचने के लिए नौकरियों का आंकलन कैसे करें :-
नौकरी की सूचीबद्ध होने की जाँच करें: यदि प्रदान की गई नौकरी प्रविष्टि में सूचीबद्ध नहीं है, तो यह अवश्य पता करें कि क्या वे वेतन या कमीशन (Commission) दे रहे हैं। घर से करने वाली नौकरी में कितनी बार भुगतान किया जाएगा यह जरूर पूछ लें। साथ ही आपको कौन से उपकरण यानी हार्डवेयर (Hardware) / सॉफ्टवेयर (Software) प्रदान करने की आवश्यकता है, के बारें में भी पूछें।
रातों-रात कोई धनी नहीं हो सकता: ऐसे विज्ञापनों से बचें जो तत्काल आपको धन और वित्तीय सफलता की गारंटी देते हों या जो आपको जल्दी से अमीर होने का आश्वासन देते हों।
किसी को भी जल्दी से पैसे ना दें: हमेशा ध्यान रखें कि वैध नियोक्ता आपको काम पर रखने या काम शुरू करने के लिए शुल्क नहीं लेते हैं। घर से काम करने या स्टार्ट-अप किट (Start-up kit) के लिए पैसे न भेजें।
संदर्भों की जांच करें: कंपनी की वैधता के बारे में सुनिश्चित ना होने पर उनसे संदर्भों के लिए पूछें। अन्य कर्मचारियों की सूची का अनुरोध करें ताकि यह जान सकें कि उन्होंने कंपनी के लिए कैसे काम किया था। यदि कंपनी संदर्भ (नाम, ईमेल और फोन नंबर) प्रदान करने के लिए तैयार नहीं होती है, तो समझ जाइए कि यह विश्वसनीय नहीं है।
दुबारा विचारें: यदि कोई नौकरी सही लगती है, तो कोई भी कदम उठाने से पहले उनके प्रस्ताव को एक बार और पढ़ लें। उदाहरण के लिए, रोज़गार के लिए एक उम्मीदवार को एक नियोक्ता से बहुत विस्तृत जानकारी के साथ नौकरी का प्रस्ताव मिला। बस समस्या यह थी कि उसने नौकरी के लिए आवेदन नहीं किया था और साथ ही आवेदन पत्र पर वेतन देने के लिए बैंक खाते की जानकारी का अनुरोध किया हुआ था। निश्चित रूप से यह फर्जी था, लेकिन काफी सफाई से लिखे गए प्रस्ताव से यह जानना मुश्किल हो जाता है कि वह फर्जी है।
घर से नौकरी करने के कार्य निम्न हैं, जिनसे बचने की आवश्यकता है :-
डेटा एंट्री (Data Entry) की नौकरी: डेटा एंट्री की नौकरी के लिए आपने बहुत सारे विज्ञापन देखे होंगे। वे आम तौर पर या तो विज्ञापन पोस्ट करने या किसी किट की बिक्री के बारे में होते हैं। ऐसे विज्ञापन से बचें।
मल्टी-लेवल मार्केटिंग (Multi-level Marketing): इसमें किसी उत्पाद को बेचने के लिए लोगों को जोड़ना होता है। वहीं इस बात का ध्यान रखें यदि आप किसी चीज को बेचने के लिए नए लोगों को जोड़ने का प्रयास कर रहे हैं तो आपके जैसे कई अन्य लोग भी यही कार्य कर रहे होंगे। साथ ही यह भी ध्यान रखें मल्टी-लेवल मार्केटिंग में तनख्वाह नहीं दी जाती है, यह बिना किसी गारंटी के एक व्यवसाय शुरू करता है।
ऑनलाइन व्यवसाय: “क्या आप अपना ऑनलाइन व्यवसाय शुरू करना चाहते हैं और अमीर बनना चाहते हैं?” इस प्रकार के विज्ञापनों से बहुत सावधान रहें। इससे आप घर पर काम करने के लिए एक मार्गदर्शक का भुगतान कर देंगे, जो आपको ऑनलाइन पैसे कमाने के लिए केवल निर्देश देगा।
विज्ञापन को सुचीबद्ध करना: “श्रमिकों की बहुत आवश्यकता है” करके कई विज्ञापन आपको ऑनलाइन विज्ञापन की सुची में दिखाई देते होंगे। ऐसे किसी भी कार्य के लिए आपको भुगतान नहीं दिया जाता है, बल्कि अन्य लोगों के आपके द्वारा साइन-अप करने पर आपको भुगतान किया जा सकता है।
निम्न कुछ खतरे की घंटियाँ इंगित करती हैं कि प्रस्तुत की गई नौकरी फर्जी है :-
नौकरी देखने में इतनी आकर्षक लगती है कि विश्वास नहीं होता: मशीन द्वारा चंद पैसों में हो जाने वाले कार्य के लिए कोई भी कंपनी हजारों का भुगतान नहीं करेगी, इसलिए ऐसे किसी भी विज्ञापन पर भरोसा ना करें, जो आपको लिफाफे को भरने, डेटा दर्ज करने या किट को इकट्ठा करने के लिए एक बड़ी आय का वादा करें।
नौकरी के लिए आपसे पैसे मांगे जाएं: वैध नियोक्ता कभी भी नौकरी प्रदान कराने के लिए आपसे भुगतान करने नहीं करवाएँगे।
नियोक्ता का कोई डिजिटल पदचिह्न नहीं होगा: आज के समय में सभी नियोक्ताओं के पास वेबसाइट और सोशल मीडिया अकाउंट (Social Media Account) मौजूद होता है। यदि गूगल (Google) में उस कंपनी के बारे में पता नहीं चलता है तो समझ जाएं कि वह कंपनी फर्जी है।
ऐसे ही नोएडा की एब्लज़ज इंफो सॉल्यूशंस (Ablaze Info solutions) नाम की कंपनी द्वारा भारत में 3,700 करोड़ रुपये का घोटाला होने पर यह सबसे बड़े ऑनलाइन घोटालों में से एक में बदल गई है। इस कंपनी पर यह आरोप लगाया गया कि यह अपने बिजनेस मॉडल (Business Model) से एक श्रृंखला को जोड़कर हजारों भोली-भाली जनता को धोखा दे रही थी। उनका ठगने का तरीका कुछ इस प्रकार का था, कि लोगों को सदस्यता प्राप्त करने के लिए एक राशी का भुगतान करना होता था और फिर राशी की अच्छी वापसी के लिए एक फर्जी लिंक पर ‘लाइक’ (Like) करने के लिए कहा जाता था। साथ ही उन्हें अन्य सदस्यों को जोड़ने का प्रलोभन भी दिया जाता था। वहीं इसमें भी वैसा ही हुआ जैसा की हर योजना में होता है, कुछ पैसे कमा लेते हैं तथा अन्य अपना निवेश भी गवा देते हैं।
घोटाले का खुलासा करने वाली उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स ने कहा कि सात लाख लोग इसके माध्यम से ठगे गए हैं। लोगों को आकर्षित करने के लिए जिस कंपनी की वेबसाइट का इस्तेमाल किया गया, वह अभी भी ‘socialtrade.biz’ पर उपलब्ध है।
वहीं 2011 में कुछ ठगों द्वारा एक अग्रणी आईटी कंपनी के परिसर में विक्रेता प्रवेश कार्ड का दुरुपयोग करके प्रवेश किया गया। वहाँ उन्होंने बहुत सुचारू संचालन किया और कार्यालय के अंदर प्रत्याशियों का साक्षात्कार भी लिया। उनके पास कंपनी कैंपस में कंपनी का फर्जी शीर्षक से लेकर फर्जी ऑफिस तक सब कुछ था। वे पुलिस की पकड़ में तब आए जब एक नौकरी के इच्छुक व्यक्ति को उन पर कुछ संदेह हुआ।
टेलीनॉर द्वारा किए गए एक अध्ययन के मुताबिक घर से काम करने के फर्जी विज्ञापन के 33% उपयोगकर्ता शिकार होते हैं और 25% लॉटरी के घोटालों के शिकार होते हैं, जबकि भारत के 85% इंटरनेट उपयोगकर्ता इन फर्जी नौकरियों से परिचित हैं। नकली फोन, नकली टी-शर्ट, नकली साबुन से लेकर नकली नौकरियां भी भारत में काफी प्रचलित हैं।
संदर्भ :-
1. https://www.thebalancecareers.com/work-at-home-scams-2058822
2. https://www.thebalancecareers.com/how-to-research-work-at-home-scams-2064281
3. https://bit.ly/2ZAmo7b
4. https://bit.ly/2Dycwl2
5. https://bit.ly/2IIYRLU
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