Post Viewership from Post Date to 23-Oct-2022 (30th Day)
City Subscribers (FB+App) Website (Direct+Google) Email Instagram Total
1845 5 1850

***Scroll down to the bottom of the page for above post viewership metric definitions

कैसे प्रौद्योगिकी जल वायु परिवर्तन को प्रेरित कर सकती है

रामपुर

 23-09-2022 10:23 AM
जलवायु व ऋतु

हम प्रारंग के पिछले लेखों में "क्रिप्टो करेंसी" (Crypto Currency) के बारे में विस्तार से जान चुके हैं। दरअसल रुपये और अमेरिकी डॉलर की ही भांति, क्रिप्टो करेंसी भी वित्तीय लेन-देन का एक जरिया है। अंतर सिर्फ इतना है कि यह आभाषी है, अर्थात दिखाई नहीं देती और न ही आप इसे छू सकते हैं। लेकिन इसके बावजूद कई विशेषज्ञ इसे हमारे पर्यावरण के लिए हानिकारक मान रहे हैं, आखिर क्यों?
अध्ययनों का अनुमान है कि बिटकॉइन खनन (Bitcoin Mining), बिटकॉइन नेटवर्क की सुरक्षा करने वाली प्रक्रिया में फिलीपींस और वेनेजुएला (Philippines and Venezuela) सहित अधिकांश देशों की तुलना में, प्रति वर्ष विश्व स्तर पर अधिक, उर्जा अर्थात बिजली का प्रयोग किया जा रहा है। दूसरी ओर, क्रिप्टो समुदाय के सदस्यों का तर्क है कि क्रिप्टो खनन वास्तव में कई महत्वपूर्ण तरीकों से पर्यावरण के लिए लाभदायक है। वे कहते हैं कि यह नवीकरणीय परियोजनाओं को प्रोत्साहित करेगा तथा लंबे समय में क्रिप्टो, ऊर्जा ग्रिड में क्रांति लाएगा। दरअसल बिटकॉइन का नेटवर्क, जटिल गणित समीकरणों को चलाने के लिए दुनिया भर के कंप्यूटरों के समूहों पर निर्भर रहता है। ये कंप्यूटिंग केंद्र शाब्दिक अर्थों में "खनिक" की तरह कम, और सुरक्षा और स्थिरता के लिए उपयोग किए जाने वाले नेटवर्क वॉचडॉग (network watchdog) की तरह अधिक कार्य करते हैं।
क्रिप्टो अधिवक्ताओं का तर्क है कि प्रूफ-ऑफ-वर्क (proof-of-work) प्रक्रिया अधिक ऊर्जा कुशल होती जा रही है तथा यह खनिक कोयले या प्राकृतिक गैस के विपरीत अधिक से अधिक पवन, सौर, या जल विद्युत जैसे अक्षय ऊर्जा स्रोतों की ओर रुख कर रहे हैं। हालांकि, बिटकॉइन नेटवर्क में अक्षय ऊर्जा का उपयोग 2020 में औसतन 42% से घटकर अगस्त 2021 में 25% हो गया था। फिलहाल, जिस दर पर क्रिप्टो खनिक अक्षय ऊर्जा स्रोतों का उपयोग करते हैं, वह काफी विवादित है।
एक उद्योग समूह, बिटकॉइन माइनिंग काउंसिल (Bitcoin mining council) का तर्क है कि खनन का 60% अक्षय स्रोतों से आता है, जो कि कैम्ब्रिज सेंटर फॉर अल्टरनेटिव फाइनेंस (Cambridge center for alternative finance) द्वारा सूचीबद्ध संख्या से 20 प्रतिशत अधिक है। चूंकि इन क्रिप्टो-परिसंपत्तियों का खनन और विस्तार पूरी तरह से ऊर्जा आपूर्ति पर निर्भर है, इसलिए उनका मूल्यांकन विशेष रूप से न्यायालयों की जलवायु नीतियों के प्रति संवेदनशील है। इसलिए इस तरह की क्रिप्टो-परिसंपत्तियों के लिए वित्तीय जोखिम बढ़ने से वित्तीय प्रणाली के संक्रमण जोखिम में वृद्धि होने की संभावना भी है।
बिटकॉइन जैसी कुछ क्रिप्टो-परिसंपत्तियों में एक महत्वपूर्ण कार्बन पदचिह्न होता है, जिसमें वार्षिक ऊर्जा खपत की मात्रा, कुछ मध्यम आकार के देशों के समान होती है। इस बाहरी कार्बन पदचिह्न का मुख्य कारण उनकी अंतर्निहित ब्लॉकचेन तकनीक (underlying blockchain technology) है, जिसके लिए बड़ी मात्रा में कम्प्यूटेशनल शक्ति एवं उर्जा की आवश्यकता होती है। एक महत्वपूर्ण कार्बन पदचिह्न के साथ क्रिप्टो-परिसंपत्तियों के लिए वित्तीय जोखिम बढ़ने से वित्तीय प्रणाली के उच्च जलवायु संक्रमण जोखिम में भी वृद्धि हो रही है। कई विशेषज्ञ कहते हैं की "क्रिप्टो माइनिंग में Amazon, Google, Microsoft, Facebook और Apple की तुलना में लगभग दोगुनी बिजली की खपत होती है।"
इस संदर्भ में व्हाइट हाउस (The White House) ने चेताया है की, बिटकॉइन जैसी क्रिप्टोकरेंसी के उत्पादन का पर्यावरणीय प्रभाव, जलवायु परिवर्तन से निपटने के प्रयासों को बाधित कर सकता है। क्रिप्टो माइनिंग ऑपरेशंस (crypto mining operations) में इस्तेमाल होने वाली बिजली की मात्रा को लेकर आलोचक लम्बे समय से खतरे की घंटी बजा रहे हैं। बिटकॉइन बिजली की खपत!
व्हाइट हाउस ऑफ़ साइंस एंड टेक्नोलॉजी पॉलिसी (White House of Science and Technology Policy) ने इसके तहत विशिष्ट नियमों को निर्धारित करने से रोक लगा दी है। उनके अनुसार अमेरिका को क्रिप्टो उत्पादन से जुड़े प्रदूषण को कम करने के लिए कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए। साथ ही संघीय सरकार को बिजली के उपयोग पर अधिक डेटा एकत्र करना चाहिए और मानकों को निर्धारित करने के लिए राज्यों और क्रिप्टो उद्योग के साथ काम करना चाहिए। रिपोर्ट के अनुसार "प्रयुक्त प्रौद्योगिकी की ऊर्जा तीव्रता के आधार पर, क्रिप्टो संपत्तियां अमेरिकी जलवायु प्रतिबद्धताओं और लक्ष्यों के अनुरूप शुद्ध-शून्य कार्बन प्रदूषण प्राप्त करने के व्यापक प्रयासों में बाधा उत्पन्न कर सकती हैं।" अमेरिका में क्रिप्टो संचालन अब लगभग उतनी ही ऊर्जा का उपयोग करता है, जितना की घरेलू कंप्यूटर कर रहे हैं। व्हाइट हाउस द्वारा उद्धृत आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका 2020 में 3.5% की तुलना में अब दुनिया के 38% बिटकॉइन खनन करता है। दस्तावेज में कहा गया है कि क्रिप्टो माइनिंग ऑपरेशन से वायु, शोर और जल प्रदूषण, पर्यावरण को नुकसान पहुंच सकता है।" साथ ही उन कार्यों से बिजली की बढ़ती मांग पहले से ही तनावग्रस्त बिजली, पर अतिरिक्त दबाव डाल सकती है।

संदर्भ
https://bit.ly/3Qwbclb
https://bit.ly/3TVY3VH
https://bit.ly/3eDZUOz

चित्र संदर्भ

1. जंगल की आग को दर्शाता एक चित्रण (flickr)
2. बिजली एवं बिटकॉइन को दर्शाता एक चित्रण (Max Pixel)
3. क्रिप्टो के सर्किट बोर्ड को दर्शाता एक चित्रण (flickr)
4. बिटकॉइन बिजली की खपत को दर्शाता एक चित्रण (wikimedia)
5. एक कंप्यूटर ऑपरेटर को दर्शाता एक चित्रण (flickr)



***Definitions of the post viewership metrics on top of the page:
A. City Subscribers (FB + App) -This is the Total city-based unique subscribers from the Prarang Hindi FB page and the Prarang App who reached this specific post. Do note that any Prarang subscribers who visited this post from outside (Pin-Code range) the city OR did not login to their Facebook account during this time, are NOT included in this total.
B. Website (Google + Direct) -This is the Total viewership of readers who reached this post directly through their browsers and via Google search.
C. Total Viewership —This is the Sum of all Subscribers(FB+App), Website(Google+Direct), Email and Instagram who reached this Prarang post/page.
D. The Reach (Viewership) on the post is updated either on the 6th day from the day of posting or on the completion ( Day 31 or 32) of One Month from the day of posting. The numbers displayed are indicative of the cumulative count of each metric at the end of 5 DAYS or a FULL MONTH, from the day of Posting to respective hyper-local Prarang subscribers, in the city.

RECENT POST

  • मेहरगढ़: दक्षिण एशियाई सभ्यता और कृषि नवाचार का उद्गम स्थल
    सभ्यताः 10000 ईसापूर्व से 2000 ईसापूर्व

     21-11-2024 09:26 AM


  • बरोट घाटी: प्रकृति का एक ऐसा उपहार, जो आज भी अनछुआ है
    पर्वत, चोटी व पठार

     20-11-2024 09:27 AM


  • आइए जानें, रोडिन द्वारा बनाई गई संगमरमर की मूर्ति में छिपी ऑर्फ़ियस की दुखभरी प्रेम कहानी
    म्रिदभाण्ड से काँच व आभूषण

     19-11-2024 09:20 AM


  • ऐतिहासिक तौर पर, व्यापार का केंद्र रहा है, बलिया ज़िला
    आधुनिक राज्य: 1947 से अब तक

     18-11-2024 09:28 AM


  • इस अंतर्राष्ट्रीय छात्र दिवस पर चलें, ऑक्सफ़र्ड और स्टैनफ़र्ड विश्वविद्यालयों के दौरे पर
    वास्तुकला 1 वाह्य भवन

     17-11-2024 09:27 AM


  • आइए जानें, विभिन्न पालतू और जंगली जानवर, कैसे शोक मनाते हैं
    व्यवहारिक

     16-11-2024 09:15 AM


  • जन्मसाखियाँ: गुरुनानक की जीवनी, शिक्षाओं और मूल्यवान संदेशों का निचोड़
    विचार I - धर्म (मिथक / अनुष्ठान)

     15-11-2024 09:22 AM


  • जानें क्यों, सार्वजनिक और निजी स्वास्थ्य देखभाल प्रणालियों में संतुलन है महत्वपूर्ण
    विचार 2 दर्शनशास्त्र, गणित व दवा

     14-11-2024 09:17 AM


  • आइए जानें, जूट के कचरे के उपयोग और फ़ायदों के बारे में
    नगरीकरण- शहर व शक्ति

     13-11-2024 09:20 AM


  • कोर अभिवृद्धि सिद्धांत के अनुसार, मंगल ग्रह का निर्माण रहा है, काफ़ी विशिष्ट
    शुरुआतः 4 अरब ईसापूर्व से 0.2 करोड ईसापूर्व तक

     12-11-2024 09:27 AM






  • © - , graphics, logos, button icons, software, images and its selection, arrangement, presentation & overall design, is the property of Indoeuropeans India Pvt. Ltd. and protected by international copyright laws.

    login_user_id