चलिए समझें, यू पी का डेयरी उद्योग, कैसे बदल रहा है, ग्रामीण जीवन और रोज़गार के अवसरों को

आधुनिक राज्य: 1947 से अब तक
03-02-2025 09:28 AM
चलिए समझें, यू पी का डेयरी उद्योग, कैसे बदल रहा है, ग्रामीण जीवन और रोज़गार के अवसरों को

रामपुर के लोगों, क्या आप जानते हैं, उत्तर प्रदेश में डेयरी उत्पादन एक बहुत महत्वपूर्ण क्षेत्र है, जो भारत के कुल दूध उत्पादन का लगभग 16% हिस्सा है?  हमारा राज्य, भारत के डेयरी उद्योग में अपनी अहम भूमिका निभाता है।  यहाँ पर, 16.2 मिलियन टन दूध, भैंसों से, 1.7 मिलियन टन विदेशी गायों से, और 4.2 मिलियन टन स्थानीय गायों से प्राप्त होता है। इस आंकड़े में रामपुर का भी बड़ा योगदान है। मेरठ न केवल एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक शहर है, बल्कि डेयरी उत्पादन में भी इसका महत्वपूर्ण स्थान है। आज हम उत्तर प्रदेश के डेयरी क्षेत्र की वर्तमान स्थिति, इसके विकास में योगदान देने वाले प्रमुख कारणों, और इससे संबंधित अन्य महत्वपूर्ण पहलुओं की चर्चा करेंगे।
उत्तर प्रदेश के डेयरी क्षेत्र की वर्तमान स्थिति
आई एम ए आर सी ग्रुप (IMARC Group) की रिपोर्ट के अनुसार, उत्तर प्रदेश का डेयरी बाज़ार, 2023 में 1,855.7 बिलियन रुपये का था। यह आंकड़ा, उत्तर प्रदेश की मज़बूत कृषि और पशुपालन प्रणाली को दर्शाता है। रिपोर्ट में यह भी अनुमान लगाया गया है कि 2032 तक यह बाज़ार 5,427.4 बिलियन रुपये तक पहुंच सकता है। इसका अर्थ यह है कि इस क्षेत्र में 12.3% की वार्षिक वृद्धि दर होगी। यह वृद्धि राज्य में डेयरी उत्पादों की बढ़ती मांग, उन्नत तकनीकों के उपयोग, और राज्य सरकार द्वारा डेयरी उद्योग को प्रोत्साहन देने की नीतियों का परिणाम है।

एक गौशाला में घास फूस खाती गाएं | Source : Wikimedia

उत्तर प्रदेश का डेयरी उद्योग, देश में सबसे बड़े डेयरी उत्पादकों में से एक है। डेयरी उत्पादन के मामले में हमारे राज्य को "दूध का कटोरा" कहा जा सकता है। इसके अलावा, यह क्षेत्र, न केवल घरेलू स्तर पर बल्कि अंतर्राष्ट्रीय बाजारों में भी अपनी उपस्थिति दर्ज कर रहा है।
उत्तर प्रदेश के डेयरी उद्योग को बढ़ावा देने वाले कारण
उत्तर प्रदेश में डेयरी उद्योग को बढ़ावा देने के कई कारण हैं। इनमें से कुछ प्रमुख कारण निम्नलिखित हैं:
1. बढ़ती जागरूकता और स्वास्थ्यवर्धक उत्पादों की मांग: आजकल लोग अपनी सेहत को लेकर अधिक सतर्क हो गए हैं। पनीर, दही, प्रोबायोटिक ड्रिंक (Probiotic Drink) , और  फ़्लेवर्ड मिल्क (Flavoured Milk) जैसे उत्पादों की मांग तेजी से बढ़ रही है। ये उत्पाद न केवल स्वादिष्ट हैं, बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी  फ़ायदेमंद हैं। इनमें मौजूद पोषक तत्व शरीर के मेटाबोलिज़्म को सुधारते हैं और प्रतिरक्षा तंत्र को मज़बूत बनाते हैं।
2. गृह उद्योग का विकास: राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में डेयरी उद्योग एक प्रमुख रोज़गार का स्रोत है। छोटे किसान और डेयरी उत्पादक सहकारी समितियों के माध्यम से अपने उत्पादों को बाजार में बेचते हैं। यह न केवल उनके जीवन स्तर को सुधारता है, बल्कि राज्य की अर्थव्यवस्था को भी मज़बूती प्रदान करता है।
3. सरकारी समर्थन और नीतियां: उत्तर प्रदेश सरकार ने डेयरी क्षेत्र को प्रोत्साहन देने के लिए कई योजनाएं और नीतियां लागू की हैं। "उत्तर प्रदेश डेयरी विकास और दूध उत्पादों के प्रोत्साहन नीति-2022" इसका एक बेहतरीन उदाहरण है। यह नीति डेयरी उद्योग को बढ़ावा देने के साथ-साथ दूध उत्पादकों को उचित मूल्य दिलाने और राज्य में दूध प्रसंस्करण की क्षमता को बढ़ाने पर केंद्रित है।

आंध्र प्रदेश के रेनीगुंटा जंक्शन से गुज़रती हुई दूध ले जाती एक ट्रेन | Source : Wikimedia

उत्तर प्रदेश में डेयरी उत्पादों की विविधता
उत्तर प्रदेश का डेयरी उद्योग, विभिन्न प्रकार के उत्पादों के उत्पादन और प्रसंस्करण में सक्रिय है। इनमें निम्नलिखित उत्पाद शामिल हैं:
⦁    दूध: दूध की राज्य में सबसे अधिक मांग है। यह ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में समान रूप से उपयोग किया जाता है।
⦁    घी और मक्खन: घी और मक्खन भारतीय रसोई का अभिन्न हिस्सा हैं। उत्तर प्रदेश के घी की गुणवत्ता देशभर में प्रसिद्ध है।
⦁    पनीर और दही: पनीर और दही, न केवल पारंपरिक भारतीय व्यंजनों में उपयोग होते हैं, बल्कि आधुनिक  फ़ास्ट फ़ूड उद्योग में भी इनकी मांग तेजी से बढ़ रही है।
⦁    आइसक्रीम और फ्लेवर्ड मिल्क: बदलते समय के साथ, आइसक्रीम और   फ़्लेवर्ड मिल्क की लोकप्रियता भी बढ़ी है। खासतौर पर युवा पीढ़ी इन उत्पादों को बहुत पसंद करती है।
⦁    स्किम्ड मिल्क पाउडर: यह उत्पाद डेयरी उद्योग के लिए एक महत्वपूर्ण घटक है और इसे बड़े पैमाने पर निर्यात भी किया जाता है।

उत्तर प्रदेश के डेयरी उद्योग में प्रमुख कंपनियां
उत्तर प्रदेश में कई प्रमुख डेयरी कंपनियां सक्रिय हैं, जो राज्य के डेयरी उत्पादन को एक नई दिशा दे रही हैं। इनमें निम्नलिखित कंपनियां शामिल हैं:
⦁    अमूल (गुजरात सहकारी दूध विपणन संघ): यह देश की सबसे बड़ी डेयरी कंपनी है और उत्तर प्रदेश में भी इसकी मज़बूत उपस्थिति है।
⦁    मदर डेयरी  फ़्रूट एंड वेजिटेबल प्राइवेट लिमिटेड: मदर डेयरी, न केवल दूध और दूध उत्पादों के लिए जानी जाती है, बल्कि यह किसानों को समर्थन भी प्रदान करती है।
⦁    पराग (प्रदेशिक सहकारी डेयरी संघ): पराग, उत्तर प्रदेश का प्रमुख ब्रांड है, जो राज्य के अधिकांश क्षेत्रों में अपनी सेवाएं प्रदान करता है।
⦁    मधुसूदन (एस एम सी  फ़ूड्स लिमिटेड (MMC Foods Limited) ): मधुसूदन विभिन्न प्रकार के डेयरी उत्पादों के लिए प्रसिद्ध है।
⦁    आनंदा समूह: यह समूह, अपने उच्च गुणवत्ता वाले उत्पादों के लिए जाना जाता है और  यू पी  के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में समान रूप से लोकप्रिय है।

साइकल पर पीतल के बर्तनों में दूध ले जा रहे दो दूध विक्रेता | Source : Wikimedia

उत्तर प्रदेश डेयरी विकास और दूध उत्पादों के प्रोत्साहन नीति-2022 के उद्देश्य
उत्तर प्रदेश सरकार ने, 2022 में,  "उत्तर प्रदेश डेयरी विकास और दूध उत्पादों के प्रोत्साहन लिए नीति  (Uttar Pradesh Dairy Development and Milk Production Promotion Policy) लागू की है। इसके कुछ प्रमुख उद्देश्य निम्नलिखित हैं:
⦁    राज्य में दूध आधारित उद्योगों की स्थापना को बढ़ावा देना।
⦁    दूध उत्पादकों को अच्छा और उपयुक्त मूल्य दिलाना।
⦁    राज्य में दूध प्रसंस्करण की क्षमता को बढ़ाना।
⦁    उपभोक्ताओं के लिए उच्च गुणवत्ता वाले दूध उत्पाद उपलब्ध कराना।
⦁     बाज़ार को बढ़ावा देना और दूसरे राज्यों/देशों में निर्यात बढ़ाना।
⦁    डेयरी उद्योग में ज़्यादा रोज़गार के अवसर पैदा करना।
⦁    नई तकनीकों और आई टी (IT) आधारित समाधान को बढ़ावा देना।
⦁     बाज़ार की जानकारी और सलाह के लिए एक मज़बूत डेटाबेस बनाना।
⦁    सहकारी समितियों और मिल्क यूनियनों में सुधार करना।
⦁    निवेशकों के लिए प्रक्रिया को सरल बनाना।

भविष्य में रोज़गार के अवसर
उत्तर प्रदेश के डेयरी क्षेत्र में, भविष्य में, रोज़गार के कई नए अवसर बनने की संभावना है। राज्य सरकार और निजी कंपनियां, इस क्षेत्र में बड़े निवेश कर रही हैं।
उदाहरण के लिए:
⦁    बनासकांठा डी सी एम पी यू लिमिटेड (Banaskantha DCMPU Limited) : पहले चरण में, 10 लाख लीटर दूध प्रतिदिन की क्षमता के साथ, ये कंपनी, एक डेयरी यूनिट स्थापित  करेगी । दूसरे चरण में, इसे 15 लाख लीटर प्रतिदिन तक बढ़ाया जाएगा। इस परियोजना में, 800 करोड़ रुपये का निवेश होगा और इससे 4000 रोज़गार के अवसर बनेंगे।
⦁    सी पी मिल्क (CP Milk) : बाराबंकी में 300 करोड़ रुपये का निवेश किया गया है, जिससे 90 लोगों को रोज़गार मिलेगा।
⦁    स्मार्ट ग्रिड प्राइवेट लिमिटेड (Smart Grid Private Limited) : गोंडा में 1100 करोड़ रुपये का निवेश किया जा रहा है, जिससे 3000 लोगों को रोज़गार मिलेगा।
⦁    रिंकू डेयरी (Rinku Dairy) : बरेली में 490 करोड़ रुपये और शाहजहाँपुर में 300 करोड़ रुपये के निवेश से नई डेयरी यूनिट स्थापित की जा रही हैं। इससे 1300 से ज़्यादा लोगों को रोज़गार मिलेगा।
 
संदर्भ 
https://tinyurl.com/7awkzjsw 
https://tinyurl.com/y2p7uy9p 
https://tinyurl.com/mrxpy2ws 

मुख्य चित्र: एक गाय से दूध निकालती महिलाएं (Pexels)
 

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