क्या है, भारत में कोरोना वायरस का आर्थिक प्रभाव

बैक्टीरिया, प्रोटोज़ोआ, क्रोमिस्टा और शैवाल
18-03-2020 01:00 PM
क्या है, भारत में कोरोना वायरस का आर्थिक प्रभाव

भारत दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ने वाली ट्रिलियन-डॉलर (Trillion Dollar) अर्थव्यवस्था है। दुनिया के सकल घरेलू उत्पाद के 7.5% के लिए 2.94 ट्रिलियन डॉलर लेखांकन की सांकेतिक जीडीपी के साथ कुल मिलाकर विश्व की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। कुल मिलाकर पांचवीं सबसे बड़ी है। 2019 में यूनाइटेड किंगडम (United Kingdom) और फ्रांस (France) को पछाड़कर भारत पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया है। अपनी तीव्र वृद्धि के साथ यह विश्व आर्थिक बाजार का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हो चुका है। मेरठ दुनिया में 63 वां सबसे तेजी से विकसित होने वाला शहरी क्षेत्र है। यह भारत का 14 वाँ सबसे तेजी से विकसित होने वाला शहर है।

भारत की अर्थव्यवस्था पर भी कोरोना (Corona) विषाणु का प्रभाव पड़ सकता है, जैसा कि अन्य देशों में इसका प्रभाव दिखायी दे रहा है। सम्पूर्ण विश्व में इस विषाणु का असर दिखाई दे रहा है और ये प्रभाव सिर्फ स्वास्थ्य पर ही नहीं बल्कि आर्थिक प्रभाव के रूप में भी दिख रहे हैं। प्रमुख अर्थशास्त्रियों और बैंकरो (Bankers) का मानना है कि आगामी दो तिमाही में सरकारी राजस्व में गिरावट हो सकती है, जिसका विपरीत प्रभाव आर्थिक गतिविधियों पर पड़ सकता हैं। सरकार की कोशिश अभी भी यही है कि आगामी आर्थिक वर्ष (जो कि अप्रैल से शुरू होने वाला है) में 6-6.5% की आर्थिक वृद्धि दर को प्राप्त कर लें, जिसमें कच्चे तेल के दामों में गिरवाट मददगार हो सकती है।

लेकिन दूसरी तरफ़ कुछ अर्थशास्त्रियों का यह भी मानना है कि सरकार अपने इस लक्ष्य को प्राप्त नहीं कर पाएगी। सरकार से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी का मानना है कि “हम इस वित्त वर्ष के लिए संशोधित राजस्व लक्ष्यों से चूकने वाले है, तथा हमें अगले वर्ष के लक्ष्यों को भी कम करना होगा”। उनका मानना है कि भारत के दूसरे सबसे बड़े तेल शोधक, भारत पेट्रोलियम कॉर्प (Bharat Petroleum Corp) के निजीकरण की देरी से प्राप्तियां, प्रारंभिक अनुमानों के मुकाबले कम से कम $2 बिलियन नीचे हो सकती हैं। इसके अतरिक्त भारत सरकार ने कोरोना विषाणु के प्रसार को रोकने के लिए 15 अप्रैल तक लगभग सभी वीज़ा (VISA) निलंबित कर दिए हैं, जिसका सीधा प्रभाव पर्यटन जगत पर पड़ेगा। भारतीय टूर ऑपरेटर्स एसोसिएशन (Indian Tour Operators Association) के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रोनब सरकार ने कहा, “पर्यटन क्षेत्र के लिए यह सबसे खराब साल है क्योंकि अगले दो-तीन महीनों के लिए बुकिंग (Bookings) रद्द कर दी गई हैं”। कर विभाग के एक अन्य वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि उपभोक्ता मांग में गिरावट के कारण प्राप्तियां प्रभावित हुई हैं, जैसा कि ऑटो (Auto), यातायात, होटल बुकिंग और खुदरा की कम बिक्री से परिलक्षित होता है।

अन्य क्षेत्रों में भी कोरोना विषाणु के लगातार बढ़ते ख़तरे का प्रभाव देखने को मिल रहा है। इलाज के अभाव में भारत बचाव के लिए अन्य क़दम उठा रहा है। अधिकारियों का कहना है कि भारत कोरोना विषाणु की वैक्सीन (Vaccine) विकसित करने की पूरी कोशिश कर रहा है। कोरोना विषाणु पीड़ितों की संख्या में बढ़ोतरी के चलते देश में लगभग हर जगह स्कूल और सिनेमा घरों को आगामी 31 मार्च तक के लिए बंद कर दिया गया है। सिनेमा घरों के बंद हो जाने से मनोरंजन जगत पर भी विपरीत प्रभाव पड़ रहा है। सरकार जनता से अनुरोध कर रही है कि लोग ज़्यादा से ज़्यादा अपने घरों में ही रहें, जिसका सीधा प्रभाव देश की अर्थव्यवस्था पर दिखाई देने वाला है। विश्व में लगभग सभी देशों में इसका कुप्रभाव दिख रहा है, परंतु इटली (Italy) और चीन की अर्थव्यवस्था पर सबसे अधिक प्रभाव पड़ रहा है। भारत में आने वाले दिनो में इसका प्रभाव गम्भीर रूप से दिख सकता है, जिससे बचने के लिए सरकार अपनी तरफ़ से पूर्ण कोशिश कर रही है।

संदर्भ:
1.
https://bit.ly/3aSWGzu
2. https://bit.ly/3bb4cpP
3. https://bit.ly/38WjeOn
4. https://on.wsj.com/33yEB7C
5. https://bit.ly/2UeVxf9
चित्र सन्दर्भ:
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https://pixabay.com/it/illustrations/scoppio-coronavirus-sars-cov-2-4883464/
2. https://pixabay.com/it/illustrations/coronavirus-sars-cov-2-polmone-4844595/
3. https://www.pexels.com/photo/emergency-asian-health-medical-3680663/