क्या है ये नैनोटेक्नोलॉजी और क्यों हमें इसके बारे में पता होना चाहिए?

लखनऊ

 22-06-2018 02:38 PM
नगरीकरण- शहर व शक्ति

नैनो टेक्नोलॉजी (Nano Technology) या नैनो प्रौद्योगिकी वर्तमान काल में एक अत्यंत महत्वपूर्ण विषय के रूप में उभर कर सामने आया है। नैनो प्रौद्योगिकी या नैनो माप, इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी का एक भाग है जो कि लगभग 1 से 100 नैनोमीटर होता है। यह अत्यंत छोटे चीजों का अध्ययन करता है। यह विज्ञान के सभी विभागों पर कार्य करता है जैसे कि रसायन विज्ञान, भौतिक विज्ञान, जीव विज्ञान आदि। नैनो प्रौद्योगिकी का सबसे पहला विचार 29 दिसम्बर 1959 को कैलिफोर्निया इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी में भौतिक विज्ञानी रिचर्ड फ़ाइनमैन को आया था और यहाँ पर ही सबसे पहले नैनो शब्द का प्रयोग भी किया गया था। अपनी बात में फ़ाइनमैन ने एक प्रक्रिया का वर्णन किया जिसमें वैज्ञानिक व्यक्तिगत परमाणुओं और अणुओं में हेरफेर और नियंत्रण करने में सक्षम होंगे। इस वार्तालाप के करीब एक दशक के बाद प्रोफेसर नोरियो तानिगुची ने अल्ट्राप्रिसिशन मशीनिंग (Ultraprecision Machining) की खोज के दौरान ‘नैनो टेक्नोलॉजी’ शब्द का निर्माण किया। सूक्ष्म्दर्शी के विकास के बाद सन 1981 में आधुनिक नैनो प्रौद्योगिकी की शुरुवात हुयी जहाँ पर परमाणुओं को देखा जाना भी संभव हुआ। हम यह कल्पना भी नहीं कर सकते कि आखिर नैनो प्रौद्योगिकी कितनी छोटी है। एक नैनो मीटर, एक मीटर का एक अरबवां हिस्सा होता है।

कुछ निम्नलिखित उदाहरणों से हम इसे समझने का प्रयास करेंगे-
*एक इंच में 2,54,00,000 नैनोमीटर होता है।
*समाचार पत्र का एक पन्ना लगभग 1,00,000 नैनोमीटर मोटा होता है।
*एक तुलनात्मक पैमाने पर देखा जाए तो यदि एक संगमरमर की पट्टी करीब एक नैनोमीटर मोटी है तो एक मीटर पूरी पृथ्वी जितना मोटा आकार होगा।

नैनोविज्ञान या नैनो प्रौद्योगिकी किसी भी परमाणु और अणुओं पर नियंत्रण रखने की क्षमता रखती है। हमारा पूरा वातावरण (पृथ्वी समेत) परमाणुओं से ही बना है। एक परमाणु इतना छोटा होता है कि उसे नग्न आँखों से देखा जाना असंभव होता है। उनपर नियंत्रण पाना तो अलग ही बात है। नैनोस्केल की चीजों को देखने के लिए जिस सूक्ष्मदर्शी का इस्तमाल किया जाता है उसका आविष्कार भी हाल में ही किया गया था। यह विषय देखा जाये तो अत्यंत नवीन है परन्तु इनका प्रयोग आज हमारी दैनिक दिनचर्या की वस्तुओं में किया जाता है। विभिन्न बीमारियों के इलाज के लिए इस प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल किया जाता है। आज के समय में विभिन्न विश्वविद्यालयों में नैनो प्रौद्योगिकी के विभागों को खोला जा चुका है जो इस विषय की महत्ता को प्रदर्शित करता है।

1. https://www.nano.gov/nanotech-101/what/definition
2. https://www.nano.gov/nanotech-101/special



RECENT POST

  • जानें, प्रिंट ऑन डिमांड क्या है और क्यों हो सकता है यह आपके लिए एक बेहतरीन व्यवसाय
    संचार एवं संचार यन्त्र

     15-01-2025 09:32 AM


  • मकर संक्रांति के जैसे ही, दशहरा और शरद नवरात्रि का भी है एक गहरा संबंध, कृषि से
    विचार I - धर्म (मिथक / अनुष्ठान)

     14-01-2025 09:28 AM


  • भारत में पशुपालन, असंख्य किसानों व लोगों को देता है, रोज़गार व विविध सुविधाएं
    स्तनधारी

     13-01-2025 09:29 AM


  • आइए, आज देखें, कैसे मनाया जाता है, कुंभ मेला
    विचार I - धर्म (मिथक / अनुष्ठान)

     12-01-2025 09:32 AM


  • आइए समझते हैं, तलाक के बढ़ते दरों के पीछे छिपे कारणों को
    आधुनिक राज्य: 1947 से अब तक

     11-01-2025 09:28 AM


  • आइए हम, इस विश्व हिंदी दिवस पर अवगत होते हैं, हिंदी के अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रसार से
    ध्वनि 2- भाषायें

     10-01-2025 09:34 AM


  • आइए जानें, कैसे निर्धारित होती है किसी क्रिप्टोकरेंसी की कीमत
    सिद्धान्त I-अवधारणा माप उपकरण (कागज/घड़ी)

     09-01-2025 09:38 AM


  • आइए जानें, भारत में सबसे अधिक लंबित अदालती मामले, उत्तर प्रदेश के क्यों हैं
    आधुनिक राज्य: 1947 से अब तक

     08-01-2025 09:29 AM


  • ज़मीन के नीचे पाए जाने वाले ईंधन तेल का अंतर्राष्ट्रीय व्यापार कैसे होता है?
    नगरीकरण- शहर व शक्ति

     07-01-2025 09:46 AM


  • परमाणु ऊर्जा संयंत्रों में बिजली कैसे बनती है ?
    नगरीकरण- शहर व शक्ति

     06-01-2025 09:32 AM






  • © - 2017 All content on this website, such as text, graphics, logos, button icons, software, images and its selection, arrangement, presentation & overall design, is the property of Indoeuropeans India Pvt. Ltd. and protected by international copyright laws.

    login_user_id