जौनपुर शहर एक प्राचीन शहर होने के साथ-साथ जिले का मुख्यालय भी है इस कारण यहाँ पर पूरे जनपद की भीड़ आती है। जौनपुर शहर में भारत के प्राचीनतम् पुलों में से एक शाही पुल शहर के गर्भ में ही स्थित है, इस पुल का निर्माण अकबर ने करवाया था। अपने निर्माण काल से लेकर अब तक यह पुल कई बदलाओं को देखा है विभिन्न बाढों व भूकम्पों को झेलते हुये यह पुल आज भी खड़ा अपनी सेवायें प्रदान कर रहा है। शाही पुल के पास ही दो अन्य पुलों का भी निर्माण हो चुका है परन्तु आज भी इसी पुल का इस्तमाल किया जा रहा है तथा सद्भावना पुल से ज्यादा भीड़ शाही पुल से ही गुजरती है। प्राचीन पुल होने के कारण यह पुल वाहनों के बोझ से धीरे-धीरे जीर्ण-शीर्ण होते जा रहा है। यह प्रदेश पुरातत्व के अन्तर्गत आता है तथा इसके रख-रखाव की जिम्मेदारी भी प्रदेश पुरातत्व विभाग के हाँथ में ही है। जनपद की वर्तमान आबादी 50 लाख के करीब पहुँच चुकी है तथा इसी कारण जिले में यातायात का भार भी बढ रहा है। शहर के सड़कों को दुरुस्त रखने की जिम्मेदारी प्रदेश प्रशासन व नगरपालिका के अन्तर्गत आती है तथा यातायात के चलने व उनके रास्तों का निर्धारण भी इन्ही प्रशासनों के अन्तर्गत आता है।
जौनपुर एक महत्वपूर्ण शहर है यहाँ की विरासत भारत के कई अन्य शहरों से अत्यधिक उत्कृष्ट हैं और ये यहाँ पर पर्यटन को बड़े पैमाने पर बढा सकती हैं। विश्व भर में कई देश हैं जहाँ पर ऐसे प्राचीन पुलों पर से यातायात को पूर्ण रूप से रोक दिया गया है तथा वो पुल मात्र पैदल चलने के लिये प्रयोग में लाये जा रहे हैं। युरोपियन देश चेक रिपब्लिक की राजधानी प्राग में बना 14वीं शताब्दी का चार्ल्स ब्रिज जौनपुर के शाही पुल के ही समान है तथा इस पुल का भ्रमण करने पूरे विश्व से पर्यटक जाते हैं इस पुल की सुरक्षा के लिये प्राग की सरकार ने इस पुल को पूर्ण रूप से पैदल यात्रा पुल घोसित कर दिया है तथा इस पुल के संरक्षण का भी कार्य समय समय पर किया जाता है। जौनपुर का शाही पुल भी चार्ल्स ब्रिज के ही समान है परन्तु अब भी इसपर यातायात का संचालन इस पुल को छतिग्रस्त कर रहा है। प्राग शहर भी जौनपुर की तरह ही बसा है जिसमें प्राचीन पुल के पास ही किले का निर्माण किया गया है तथा वहाँ पर भी कई धरोहरों का निर्माण किया गया है परन्तु दोनो शहरों के रख-रखाव में जमीन आसमान का अन्तर है। जौनपुर के ये धरोहर यहाँ पर बड़े पैमाने पर पर्यटन को व व्यवसाय को बढाने का मद्दा रखते हैं।
प्रथम चित्र- चार्ल्स ब्रिज प्राग
द्वितीय चित्र- शाही पुल
तृतीय चित्र- शाही पुल और इसपर यातायात
चतुर्थ चित्र- चार्ल्स ब्रिज से दृष्य
1. ट्रांस्फॉर्मेशन इन इंडियन हिस्ट्री, एडिटेड बाय प्रतिमा अस्थाना, सईद ज़हीर, हुसैन ज़ाफरी
2. प्रॉग्रेस इन नैनोटेक्नॉलॉजी, वाल्युम 2, गोविन्द प्रसाद
3. एबाउट प्रागः टाल्किंग सिटी गाईड, ईंगा टॉर्मन
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