जौनपुर में गर्मियों का मौसम आते ही बाज़ारों में इस गर्मी से ठंडक दिलवाने वाले खरबूजे दिखाई देने लगते हैं। ये आते हैं जौनपुर से तक़रीबन 6-7 किलोमीटर दूर गोमती के किनारे बसे जमैथा नाम के गाँव से, इसीलिए इन्हें जमैथा खरबूजे के नाम से जाना जाता है। यह यहाँ का प्रमुख उत्पादित फल है। खरबूजा विटामिन ए और सी (Vitamin A, Vitamin C) का अच्छा स्त्रोत है। इसमें से प्राप्त श्लेषजन एक नैसर्गिक जोड़-द्रव्य जैसा रहता है जो हमारे चोटों को ठीक करने का तथा पाचन तंत्र और बाकि कोशिकाओं को मजबूत रखने का कार्य करता है।
इसमें उपलब्ध फाइबर (Fibre) पय-अपचय तथा वजन नियंत्रण का काम करता है। इसमें कोलेस्ट्रोल (Cholestrol) बिलकुल नहीं होता। खरबूजा एक बहुत ही पुराना फल है और मान्यता है कि भारत तथा बाकी जग में वह पर्शिया अथवा अर्मेनिआ से आया था। खरबूजा द्विलिंगी होते हैं और इनके सिर्फ भारत में ही कुल 10 से भी ज्यादा प्रकार हैं। खरबूजे का शास्त्रीय नाम कुकुमीस मेलो लिन्नेअस (Cucumis Melo Linnaeus) है तथा यह वनस्पति जगत के कुकुर्बीटेशिए (Cucurbitaceae) कुटुंब का सदस्य है। इनसे तेल भी निकाला जाता है और इनकी सब्जी तथा मिठाई भी बनाई जाती है।
1. डिस्क्रिप्टर्स फॉर मेलन
https://www.bioversityinternational.org/uploads/tx_news/Descriptors_for_melon__Cucumis_melo_L.__906.pdf
2. http://theindianvegan.blogspot.in/2012/11/all-about-muskmelon.html
3. https://en.wikipedia.org/wiki/Muskmelon
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