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लखनऊ (अवध) क्षेत्र की अपनी एक अलग खास नवाबी भोजन शैली है। इसमें विभिन्न तरह की बिरयानी, कबाब, कोरमा, नाहरी कुल्चे, शीरमाल, ज़र्दा, रुमाली रोटी और वर्की परांठा और रोटियाँ आदि हैं, जिनमें काकोरी कबाब, गालव कबाब, पतीली कबाब, बोटी कबाब, गौन्थ कबाब और शामी कबाब प्रमुख हैं। जहां एक ओर 1805 में स्थापित राम आसरे हलवाई की मक्खन मलाई और मलाई-गिलौरी प्रसिद्ध है, वहीं अकबरी गेट पर मिलने वाले हाजी मुराद अली के टुण्डे के कबाब भी कम प्रसिद्ध नहीं हैं। इसके अलावा अन्य नवाबी पकवान जैसे 'दमपुख़्त', लच्छेदार प्याज और हरी चटनी के साथ परोसे गय सीख-कबाब और रूमाली रोटी का भी जवाब नहीं है। लखनऊ की चाट देश की बेहतरीन चाट में से एक है। और खाने के अंत में विश्व-प्रसिद्ध लखनऊ के पान जिनकी कोई सानी नहीं है।
लखनऊ के अवधी व्यंजन जगप्रसिद्ध हैं। प्रारंग अपने कुछ अन्य लेखों में लखनवी खानपान को विस्तारित कर चुका है, जिन्हें आप निम्न लिंक पर जाकर पढ़ सकते हैं-
लखनऊ में इफ़्तार के लज़ीज़ व्यंजन
लखनऊ के नवाबी पकवान
परन्तु आज हम बात करते हैं, टुंडे कवाब की जिसका स्वाद ऐसा है ही की हर कोई उंगलियाँ चाटने पर मजबूर हो जाता है। प्रारंग आज आपके लिए लेकर आया है टुंडा कवाब पकाने की विधि का चलचित्र, जिसके द्वारा आप अपने घर में ही लखनवी शान टुंडा कवाब का स्वाद अपने घर में ही ले सकते हैं।
सन्दर्भ:-
1. https://www.youtube.com/watch?v=nZwGk2JWhkg
2. https://www.youtube.com/watch?v=pc1r4_JtuSc
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