समयसीमा 237
मानव व उनकी इन्द्रियाँ 948
मानव व उसके आविष्कार 726
भूगोल 236
जीव - जन्तु 275
आज के समय में ‘जो दिखता है वही बिकता है’ की विचारधारा प्रबल होती जा रही है। जिसमें विज्ञापन विशिष्ट भूमिका निभा रहे हैं। विज्ञापन उपभोगताओं की खरीददारी पर प्रत्यक्ष प्रभाव डालते हैं। विज्ञापन विभिन्न विपणन उपकरणों में से एक है, जिसका उपयोग किसी व्यवसाय या उसके उत्पादों या सेवाओं हेतु संभावित ग्राहकों का ध्यान आकर्षित करने के लिए किया जाता है। एक विज्ञापन जितना प्रभावी होगा ग्राहक उसकी ओर उतनी ही तीव्रता से आकर्षित होगा। पहले टेलीविज़न (Television), उसके बाद केबल टीवी (Cable TV) और अब इंटरनेट (Internet) के विकास ने विज्ञापनों के स्वरूप को काफी बदल दिया है।
हर गुज़रते समय के साथ लोगों के जीवनस्तर में बदलाव आ रहा है। जिसके चलते उपभोक्ताओं की मांग में भी तीव्रता आ रही है। विश्व एकीकरण के चलते प्रतिस्पर्धा का स्तर भी बढ़ रहा है, अतः अपने उत्पादों को बाज़ार में लाने और उपभोक्ताओं तक पहुंचाने हेतु विज्ञापनों का प्रभावी उपयोग करना विज्ञापन दाताओं के लिए अनिवार्य हो गया है। किसी भी उत्पाद को विशिष्ट ब्राण्ड (Brand) बनाने में विज्ञापनों की विशेष भूमिका रहती है। विज्ञापन का मुख्य उद्देश्य उपभोक्ताओं को उत्पाद खरीदने के लिए प्रोत्साहित करना है। सैंपल (Samples), कूपन (Coupon), कैश रिफंड ऑफर (Cash Refund Offers), मुफ्त, प्रीमियम (Premium), फ्री ट्रेल्स (Free trails), भारी छूट आदि की पेशकश ग्राहकों को लुभाती है। HOMESHOP 18, TVC शॉपिंग, टेलिशॉपिंग चैनलों (Teleshopping channels) का आगमन इस फलते-फूलते व्यापार के उदाहरण हैं।
आज के समय में जहां संपूर्ण प्रचार बजट का 60%-70% केवल विक्रय विज्ञापन पर खर्च किया जा रहा है, तो वहीं यह जानकर आश्चर्य होता है कि जौनपुर शहर में अभी भी ग्राहक उत्पाद के विषय में जानकारी प्राप्त करने के लिए उपरोक्त अभियानों पर विश्वास कर रहे हैं। इसलिए विज्ञापन दाताओं को बाज़ार का तथा बाज़ार क्षेत्र के मनोवैज्ञानिक कारकों का गहनता से अध्ययन करने और उसके बाद लक्षित दर्शकों के लिए उपयुक्त प्रचार उपकरण का उपयोग करने की आवश्यकता है।
आज के समय में विज्ञापन हेतु सबसे बड़ी चुनौती इलेक्ट्रॉनिक मीडिया (Electronic Media) का प्रभावी उपयोग करना है। विज्ञापनकर्ताओं का मुख्य उद्देश्य बड़ी संख्या में दर्शकों को आकर्षित करना है। दर्शकों की संख्या बढ़ाने के लिए विज्ञापनदाता सार्वजनिक मुद्दों (जैसे- जागो ग्राहक जागो) को अपने विज्ञापन से जोड़ रहे हैं, जिससे दर्शक सामूहिक रूप से उनसे जुड़ें। इसे एक सकारात्मक पहल कहा जा सकता है। दर्शकों को लुभाने हेतु विज्ञापनों के माध्यम से नियोजित और नियंत्रित संदेश प्रदान करें जो एक साथ कई लोगों से संपर्क कर सके तथा उन्हें प्रभावित कर सके। विज्ञापन हेतु श्रव्य-दृश्य माध्यमों का चयन करें।
टीवी में प्रसारित किए जाने वाले विज्ञापनों में दर्शकों की समय सारणी पर भी ध्यान दिया जाना चाहिए। जैसे महिलाएं दिन में अपना कार्य पूरा करके टीवी देखती हैं अतः उनसे संबंधित उत्पादों के विज्ञापन दिन में दिखाए जाएं। तो वहीं पुरूष अधिकतर रात के समय में टीवी देखते हैं अतः उनसे संबंधिति उत्पादों के विज्ञापन रात में दिखाए जाएं। ताकि वे उत्पाद को खरीदने का निर्णय ले सकें। इसी प्रकार यदि आप प्रिंट मिडिया (Print Media) के माध्यम से विज्ञापन देना चाह रहे हैं, तो पत्रिकाओं को पढ़ने वाले आयु वर्ग का विशेष ध्यान रखें।
जौनपुर शहर के 39% निवासी किसी भी ब्रांड की विशेषताओं के बारे में जानकारी प्राप्त करने और उन पर भरोसा करने के लिए, विज्ञापनों पर निर्भर हैं। विक्रताओं को आवश्यकता है कि वे विज्ञापन संदेशों को तैयार करने और सामान्य तत्वों को प्रेरित करके रचनात्मक अवधारणा को तैयार करने तथा संभावित ग्राहकों को लुभाने के लिए अपने विज्ञापन विषय में प्रसिद्ध हस्ती या जीवन के अंश का उपयोग करें। कंपनियां (Companies) अपने ब्रांड को एक संरक्षण देने के साथ-साथ अत्यधिक प्रतिस्पर्धी बाज़ार में अपने लिए एक स्थान खोजने की कोशिश कर रही हैं। इस स्थान की पहचान जौनपुर के 20.67% निवासियों में की गई है।
अच्छे विज्ञापन का चयन करना एक कठिन कार्य है। लेकिन बाज़ारवादियों के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे चार मानदंडों पर ध्यान दें, जिसके आधार पर जौनपुर के नागरिकों ने सबसे अच्छे विज्ञापन का निर्णय लिया है। वे इस प्रकार हैं:
• संगीत
• संदेश
• हस्तियों का उपयोग
• अनोखी प्रस्तुति
इंटरनेट के बढ़ते उपयोग और वेब 2.0 (Web 2.0) के उद्भव के साथ, कई फेसबुक (Facebook), यूट्यूब (Youtube) आदि और उनके जैसे अन्य स्टार्ट-अप (Startup) का उपयोग सामाजिक नेटवर्किंग (Networking) और जागरूकता पैदा करने के लिए किया जा सकता है। टीवी के माध्यम से विज्ञापन देना विज्ञापनदाताओं के लिए काफी महंगा समझौता होता है क्योंकि वर्तमान समय में टीवी में अधिक चैनल मौजूद हैं तथा विज्ञापन के दौरान दर्शकों द्वारा चैनल बदल दिए जाते हैं, जिससे विज्ञापन वांछित दर्शकों की संख्या तक नहीं पहुंचा पाता है। अतः विज्ञापनदाताओं के लिए आवश्यक है कि उनके विज्ञापन छोटे, मनोरंजक और आकर्षक होने चाहिए जिसे दर्शक बार-बार देखना पसंद करें और साथ ही संबंधित उत्पाद को खरीदने के लिए प्रोत्साहित हो जाएं।
संदर्भ:
1.https://shodhganga.inflibnet.ac.in/bitstream/10603/169063/11/11_chapter%206.pdf
A. City Subscribers (FB + App) - This is the Total city-based unique subscribers from the Prarang Hindi FB page and the Prarang App who reached this specific post.
B. Website (Google + Direct) - This is the Total viewership of readers who reached this post directly through their browsers and via Google search.
C. Total Viewership — This is the Sum of all Subscribers (FB+App), Website (Google+Direct), Email, and Instagram who reached this Prarang post/page.
D. The Reach (Viewership) - The reach on the post is updated either on the 6th day from the day of posting or on the completion (Day 31 or 32) of one month from the day of posting.